चंडीगढ़, 26 मार्च (ब्यूरो) : पंजाब विजीलेंस ब्यूरो ने मंगलवार को राजस्व हलका पीरूबंदा, पूर्वी लुधियाना में तैनात राजस्व पटवारी गुरविंदर सिंह को 34.70 लाख रुपये की रिश्वत लेने के आरोप में गिरफ्तार किया है। हाई कोर्ट द्वारा उनकी जमानत याचिका खारिज किए जाने के बाद उन्होंने विजीलेंस ब्यूरो रेंज लुधियाना में आत्मसमर्पण कर दिया है।
भ्रष्टाचार के इस मामले में उक्त पटवारी के भाई और पिता सहित उसके एजेंट निक्कू पर भी रिश्वत लेने की साजिश रचने का मामला दर्ज किया गया है। राज्य विजीलेंस ब्यूरो के प्रवक्ता ने आज खुलासा करते हुए कहा कि यह मामला बठिंडा जिले के रामपुरा फूल शहर के निवासी बब्बू तनवर द्वारा उक्त पटवारी और उसके निजी एजेंट के खिलाफ मुख्यमंत्री भ्रष्टाचार निवारण एक्शन लाइन पर दर्ज कराई गई शिकायत के आधार पर दर्ज किया गया है।
जन्मदिन पार्टी पर 80,000 रुपये की राशि खर्च की
शिकायतकर्ता ने आरोप लगाया था कि आरोपी ने बस स्टैंड लुधियाना के पास स्थित उसके पिता की संपत्ति के इंतक़ाल को मंजूरी देने के लिए 40,000 रुपये की रिश्वत राशि स्वीकार की थी, जिसे वर्ष 1994 में पंजीकृत किया गया था। शिकायतकर्ता ने आगे आरोप लगाया कि उपरोक्त पटवारी और उसके एजेंट निक्कू ने उससे दो ‘आई-फोन’, स्मार्ट घडिय़ों के साथ-साथ 3 लाख रुपये की पाकिस्तानी जूतियाँ खरीदने के लिए 3,40,000 रुपये भी लिए थे।
इसके अलावा, शिकायतकर्ता ने उक्त पटवारी के एजेंट निक्कू की जन्मदिन पार्टी पर 80,000 रुपये की राशि खर्च की थी। प्रवक्ता ने बताया कि जांच के दौरान यह पाया गया कि उपरोक्त पटवारी, उसके साथी निक्कू, पटवारी के पिता परमजीत सिंह और भाई बलविंदर सिंह ने एक-दूसरे के साथ मिलीभगत करके इंतक़ाल कराने के बदले में चार बार 27,50,000 रुपये की रिश्वत ली थी।
निक्कू सहित पटवारी के भाई और पिता पर भी केस
उन्होंने बताया कि सत्यापन के अनुसार, उपरोक्त पटवारी ने न तो संबंधित संपत्ति का नामांतरण किया और न ही इस कार्य के लिए शिकायतकर्ता से ली गई राशि लौटाई, जिससे साबित हुआ कि आरोपियों ने रिश्वत लेने के बाद भी उसके साथ धोखाधड़ी की है।
उन्होंने आगे कहा कि इस संबंध में भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धारा 7 और 7-ए और आईपीसी की धारा 420, 120-बी के तहत विजीलेंस ब्यूरो पुलिस स्टेशन लुधियाना रेंज में एफआईआर नंबर 29 दिनांक 24-11-2023 पहले ही पटवारी गुरविंदर सिंह, उसके साथी निक्कू सहित पटवारी के भाई और पिता को रिश्वत मांगने और स्वीकार करने तथा एक-दूसरे के साथ मिलकर साजिश रचने का दोषी पाते हुए मुकदमा दर्ज है।
उन्होंने आगे बताया कि पटवारी के पिता और भाई को पहले ही कोर्ट से जमानत मिल चुकी है लेकिन हाई कोर्ट ने दोषी पटवारी की जमानत अर्जी खारिज कर दी है। इसके बाद से गुरविंदर सिंह पटवारी और उसके साथी निक्कू की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की जा रही थी। इसलिए अब कोई अन्य विकल्प न मिलने पर उक्त पटवारी ने आत्म-समर्पण कर दिया है।