जालंधर 09 मार्च (धर्मेन्द्र सौंधी) : पूरे भारत में 2017 में जीएसटी लागू हो गया था और पंजाब GST एक्ट 2017 में पंजाब सरकार ने एक नोटिफिकेशन में यह बात स्पष्ट कर दी थी कि सड़कों पर गाड़ियां चेक करने का अधिकार गजटेड ऑफिसर को होगा। जोकि STO एवं AETC Mobile Wing को निर्धारित किया गया था। हालांकि रोड चेकिंग के लिए पंजाब जीएसटी एक्ट 2017 धारा 129 और 130 में उसकी सीमाएं बताई गई है। पर आज जालंधर की सड़कों पर कुछ अलग ही नजारा देखने को मिला। मोबाइल विंग जालंधर के तीन पुरुष इंस्पेक्टर बिना किसी STO एवं AETC के नाका लगाकर खड़े थे, जोकि पंजाब सरकार के आदेशों की घोर उल्लंघन है।
बिना STO के इंस्पेक्टरों द्वारा नाका लगाना किसी भ्रष्टाचार से कम नहीं है। इन इंस्पेक्टरों में एक इंस्पेक्टर लगभग ढाई वर्ष पहले आबकारी विभाग में कार्यरत था। जिसे पूरा मान सत्कार देकर वहां से विदा किया गया था और अब वह मोबाइल विंग जालंधर में अपनी सेवाएं दे रहा है। पर इस तरह की कार्यप्रणाली उच्च अधिकारियों के लिए प्रश्नचिन्ह खड़ा करती है। अगर देखा जाए तो यह तीनों इंस्पेक्टर जालंधर फगवाड़ा हाईवे पर दकोहा गांव के पास पुलिस मुलाजिम के साथ सरकारी गाड़ी और ड्राइवर सहित नाका लगाकर क्यों खड़े थे और साथ में सड़क पर गाड़ी के पास तीन कुर्सियां भी इंस्पेक्टरों के बैठने के लिए लगी हुई थी। मोबाइल विंग के अधिकारी, कर्मचारी और उच्च अधिकारी पंजाब सरकार के नियमो से अच्छी तरह वाकिफ है। चाहे हालात कैसे हों पर अधिकारी नियम को ताक पर रखकर किसी भी स्पेक्टर को नाका लगाने के लिए कभी नहीं कहेंगे। पर फिर भी आज जालंधर की सड़कों पर मोबाइल विंग के इंस्पेक्टरों का नाका कहां तक जायज है। जिसकी उच्च अधिकारियों को गहनता से जांच करना बहुत जरूरी है। जब इस बाबत ज्वाइन डिरेक्टर जीएसटी जालंधर से फोन पर सम्पर्क करना चाहा तो उन्होंने फोन नहीं उठाया।