जालंधर 08 मार्च (धर्मेन्द्र सौंधी) : पी.सी.एम.एस.डी. कॉलेज फॉर विमेन, जालंधर में यूथ क्लब व सेंट्रल एसोसिएशन के सहयोग से होली का त्योहार मनाया गया। समारोह की शुरुआत से पहले कर्मचारियों के माथे पर होली का तिलक लगाया गया। होली का त्यौहार हर साल सभी आयु वर्ग के लोगों के बीच एक उल्लासपूर्ण और जीवंत मनोदशा पैदा करता है। रंगों के त्योहार के आने के कुछ दिन पहले से ही लोग मस्ती करने लगते हैं। होली मुख्य रूप से सर्दियों के बाद वसंत के आगमन का जश्न मनाती है। यह बुराई पर अच्छाई की जीत का भी प्रतीक है। इस त्योहार को अच्छी फसल के लिए धन्यवाद के रूप में भी मनाया जाता है।हिंदू पौराणिक कथाओं के अनुसार, राजा हिरण्यकश्यप के पुत्र प्रह्लाद को उसकी चाची होलिका गोद में लेकर चिता पर बैठी थी, क्योंकि ऐसा माना जाता था कि आग होलिका को छू नहीं सकती थी। हालांकि, होलिका को आग लग गई और प्रहलाद को बचा लिया गया।
यही कारण है कि होली की शुरुआत होलिका दहन से होती है, जो बुराई और शैतानी ताकतों के अंत की परिणति होती है। रंगों का मेला तब शुरू होता है जब लोग सड़कों पर निकलते हैं और एक-दूसरे पर रंग छिड़कते हैं और पानी की बंदूकों या गुब्बारों के माध्यम से रंगीन पानी में सराबोर होते हैं। छात्र-छात्राएं आकर्षक परिधानों में सजे-धजे थे। उनमें से कुछ ने मनमोहक नृत्य प्रस्तुतियां दीं, जबकि दर्शकों ने नृत्य की धुनों पर नृत्य का लुत्फ उठाया। अध्यक्ष श्री नरेश कुमार बुधिया, वरिष्ठ उपाध्यक्ष विनोद दादा, प्रबंधक समिति के अन्य गणमान्य सदस्य एवं प्राचार्य प्रो.(डॉ.) पूजा पराशर ने इस पावन अवसर पर छात्रों और शिक्षकों को बधाई दी। उन्होंने आयोजन को सफल बनाने में सेंट्रल एसोसिएशन और यूथ क्लब के सदस्यों के प्रयासों की भी सराहना की।