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मां बगलामुखी धाम गुलमोहर सिटी में करवाया श्रृंखलाबद्ध सप्ताहिक मां बगलामुखी हवन यज्ञ

मूर्ख व्यक्ति को समझाना अपनी ज्ञान की गठरी को समाप्त करना : नवजीत भारद्वाज

 

 

महाशिवरात्रि पर्व पर 18 फरवरी शनिवार को मंदिर परिसर में

जालंधर, 09 फरवरी (कबीर सौंधी) : मां बगलामुखी धाम नजदीक लम्मां पिंड चौंक होशियारपुर रोड़ पर स्थित गुलमोहर सिटी में धाम के संस्थापक एवं संचालक नवजीत भारद्वाज की अध्यक्षता में साप्ताहिक मां बगलामुखी हवन यज्ञ करवाया गया। सबसे पहले ब्राह्मणों ने नवग्रह, पंचोपचार, षोढषोपचार, गौरी, गणेश, कुंभ पूजन, मां बगलामुखी जी के निमति माला जाप कर मुख्य यजमान बलजीत कुमार से सपरिवार पूजा अर्चना उपरांत हवन यज्ञ में आहुतियां डलवाईं ।

इस यज्ञ में उपस्थित मां भक्तो को आहुतिया डलवाने के बाद नवजीत भारद्वाज ने अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि जिस प्रकार कोयले को साफ करने और चमकाने में सौ मन साबुन की बर्बादी है, उसी प्रकार मूर्ख व्यक्ति को समझाना अपनी ज्ञान की गठरी को समाप्त करने के समान है और मूर्ख व्यक्ति अपने आप को परम ज्ञानी समझता है। सच्चा व्यक्ति वही है जो सेवा समर्पण और तपस्या में अपने आप को पका चुका हो। नवजीत भारदज ने कहा कि ऊंचे कुल में जन्म लेना काफी नहीं है। हमारे कर्म ऊंचें होनी चाहिए।

रावण का जन्म भी ऊंचे कुल में हुआ था परंतु अपनी नीच करनी के चलते वह राक्षस हो गया उन्होंने कहा कि हर इंसान के पास परमात्मा की दी हुई सभी शक्तियां हैं फिर भी इंसान दुखी है। दुखों का कारण उसकी बढ़ती इच्छाएं हैं। शब्द ही दुखों का निवारण है। जिस तरह से इंसान मंदिरों में जाकर घंटियां बजाता है, उस तरह की घंटियां तो हमारे शरीर में हैं। वहीं ध्वनि हमारे अंदर उत्पन्न होती है।

नवजीत भारद्वाज ने आखिर में कहा कि डॉक्टर हमारे ऊपर प्रयोग करते हैं उनके प्रयोग खुद के दिमाग के कम और जांच में आई रिपोर्ट पर ज्यादा प्रभावित होते हैं। इसमें सफलता भी मिलती है। उसी प्रकार इंसान अपने खुद के ऊपर प्रयोग करें। इंसान का लक्ष्य माया को पाने का नहीं होना चाहिए, बल्कि माया को बनाने वाले भगवान को पाने का होना चाहिए। 

इस अवसर पर श्रीकंठ जज, हैरी शंकर शर्मा, विक्र म भसीन, संजीव सोंधी, रविन्द्र बांसल, प्रिंस कुंडल, अनिल चड्डा,रोहित भाटिया, गौरव कोहली, अमरेंद्र कुमार शर्मा,राजेंद्र कत्याल,राकेश प्रभाकर, बलवंत बाला, मुनीश शर्मा, सुरेंद्र शर्मा,रोहित बहल, एडवोकेट राज कुमार, मोहित बहल, अशोक शर्मा, विक्रांत शर्मा, गोपाल मालपानी, राघव चढ्ढा, समीर कपूर, अश्विनी शर्मा, संजीव शर्मा, मुकेश चौधरी, अमरेंद्र सिंह,संजीव सांवरिया, मुनीश शर्मा, यज्ञदत्त, राकी,बावा जोशी, पंकज,करन वर्मा, राजेश महाजन, संजीव शर्मा, गुप्ता,मानव शर्मा, राजीव, दिशांत शर्मा,अशोक शर्मा, पंकज, राकेश, ठाकुर बलदेव सिंह, साबी,अभिलक्षय चुघ,लक्की,वावा खन्ना, सुनील जग्गी,प्रिंस,पंकज, प्रवीण सहित भारी संख्या में श्रद्धालु मौजूद थे। आरती उपरांत प्रसाद रूपी लंगर भंडारे का भी आयोजन किया गया।

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