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श्रीमद् भागवत कथा में छठवें दिन हुआ कृष्ण और रुक्मणी विवाह प्रसंग, भाव-विभोर हुए श्रद्धालु, बरसाए फूल

जालंधर, 24 सितंबर (कबीर सौंधी) : श्री राधा कुंज बिहारी सेवा समिति के तत्वावधान में साईं दास स्कूल, पटेल चौक में चल रही सात दिवसीय श्रीमदभागवत कथा के छठवें दिन श्रीकृष्ण-रुक्मिणी विवाह की कथा सुनाई गयी। कथा स्थल पर रूक्मणी विवाह के आयोजन ने श्रद्धालुओं को झूमने पर मजबूर कर दिया। 

भागवत कथा के व्यास पीठ पर विश्व विख्यात कथा वाचक पूज्य श्री इंद्रेश जी महाराज ने महारास प्रसंगरास पंच अध्याय का वर्णन किया। उन्होंने कहा कि महारास में पांच अध्याय है। उनमें गाए जाने वाले पंच गीत भागवत के पंच प्राण है। जो भी ठाकुरजी के इन पांच गीतों को भाव से गाता है वह भव पार हो जाता है। उन्हें वृंदावन की भक्ति सहज प्राप्त हो जाती है। कथा के दौरान महाराज जी ने कहा कि महारास में भगवान श्रीकृष्ण ने बांसुरी बजाकर गोपियों का आह्वान किया और महारास लीला द्वारा ही जीवात्मा परमात्मा का ही मिलन हुआ।

रुक्मणी विवाह महोत्सव प्रसंग पर व्याख्यान करते हुए उन्होंने कहा कि रुकमणी के भाई रुकमि ने उनका विवाह शिशुपाल के साथ सुनिश्चित किया था लेकिन रुक्मणी ने संकल्प लिया था कि वह शिशुपाल को नहीं केवल गोपाल को पति के रूप में वरण करेंगे। उन्होंने कहा शिशुपाल असत्य मार्गी है और द्वारिकाधीश भगवान कृष्ण सत्य मार्गी है इसलिए वो असत्य को नहीं सत्य को अपनाएगी। अंत भगवान द्वारकाधीश जी ने रुक्मणी के सत्य संकल्प को पूर्ण किया और उन्हें पत्नि के रूप में वरण करके प्रधान पटरानी का स्थान दिया। 

इस कथा के माध्यम से उन्होंने बताया कि रुक्मणि स्वयं साक्षात लक्ष्मी हैं और वह नारायण से दूर रह ही नही सकती। उन्होंने कहा कि जो भक्त प्रेमी कृष्ण रुक्मणी के विवाह उत्सव में शामिल होते हैं उनकी वैवाहिक समस्या हमेशा के लिए समाप्त हो जाती है।इस प्रसंग को श्रद्धा के साथ श्रवण करने से कन्याओं को अच्छे घर और वर की प्राप्ति होती है और दांपत्य जीवन सुखद रहता है। श्रीकृष्ण-रूक्मिणी की वरमाला पर जमकर फूलों की बरसात हुई।

इस मोके संत समाज की तरफ से श्री आरती देवी जी महाराज (अमृतसर), श्री राम दास जी महाराज ( जालंधर), श्री केशव दास जी महाराज ( जालंधर) व श्री चंद्रकांत जी सहित श्री केदारनाथ लंगर कमेटी के पदाधिकारी व सदस्य, जोगिन्दर जी( जोड़ा घर), चार्टेड शशि भूषण, कत्याल परिवार, के.के.शर्मा, परविंदर बहल, विकास ढांडा ने यजमान के रूप में भाग लेकर श्रीमद्भागवत का आशीर्वाद हासिल किया। इस अवसर पर संजीव वर्मा, मेजर अरोड़ा, गौरव भल्ला, विशाल चौधारी, ईशु महेंद्र, राहुल महेंद्र, कृष्ण गोपाल बेदी, पवन वारने, अशोक शर्मा, पार्थ सारथी, मनजीत वर्मा, राकेश ठाकुर, अभिषेक वर्मा, निश्चय वर्मा, गौरव तयाल, मनी कनौजिया (कालू), जितेंद्र वर्मा, जिनेश, जितेंद्र अरोड़ा, रोहित वधवा, एडवोकेट रवीश मल्होत्रा, कमलजीत मल्होत्रा, विजय आनंद, संजय आनंद, राहुल चावला, हर्ष शर्मा, अमित वर्मा, अनिल भल्ला, राम आनंद, संजीव शर्मा, सुधीर शर्मा, ओम कपूर सहित गणमान्य बड़ी संख्या में उपस्थित रहे।

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