पंजाब, 17 मई (ब्यूरो) : पंजाब सरकार के खिलाफ अपनी मांगों को लेकर पंजाब रोडवेज, पनबस, पीआरटीसी कांट्रेक्टर वर्कर्स यूनियन ने मोर्चा खोल दिया है। उन्होंने सरकार को हड़ताल पर जाने की चेतावनी दी है। यूनियन ने कहा कि ट्रांसपोर्ट विभाग ने अगर कर्मचारियों की मांगें नहीं मानी तो 18 मई दोपहर 12 बजे के बाद से राज्य में बसें नहीं चलेंगी।
यूनियन के प्रदेश प्रधान रेशम सिंह, सचिव शमशेर सिंह ढिल्लों, वरिष्ठ उपाध्यक्ष हरकेश कुमार विक्की, बलजीत सिंह गिल, कैशियर बलजिंदर सिंह ने कहा कि सरकार कच्चे कर्मचारियों को पक्का करने का हल निकालने के बजाय धक्केशाही करने में लगी है।
रेशम सिंह ने बताया कि 18 मई से बसें न चलाने की घोषणा इसलिए की गई है, क्योंकि कर्मचारियों को पिछले लंबे समय से वेतन नहीं मिला है। अधिकारियों की ओर से गलत फैसले लिए जा रहे हैं, जिनमें ज्यादा सवारियां होने पर बसों को न रोकना, लांग रूट पर बिना कहीं रुके चलना।
रेशम सिंह ने कहा कि इन मांगों को अधिकारियों को तत्काल प्रभाव से हल निकालना होगा। अगर मांगें नहीं मानी गई तो 18 मई दोपहर बाद से बसें नहीं चलेंगी। इसके अलावा कर्मचारियों की ओर से अपनी मांगों को लेकर आगामी 28 और 29 मई को विधायकों को मांग पत्र दिए जाएंगे।
यूनियन के पदाधिकारियों ने कहा कि कच्चे कर्मचारियों को पक्का करना, सामान काम सामान वेतन लागू करवाना, वर्कशाप कर्मचारियों को रेगुलर स्टाफ की तर्ज पर सरकारी छुट्टियों को लागू करवाना, स्किल हाई स्किल पे स्केल लागू करना, एडवांस बुकरा डाटा एंट्री आपरेटर और नए बहाल किए पीआरटीसी और पनबस के कर्मचारियों 2500 प्लस 30 फीसद बढ़ोतरी लागू की जाए।
कर्मचारियों ने कहा कि मांगों को लेकर आगामी 6 जून को गेट रैली की जाएगी, जिसके बाद आगामी 8 जून से 10 जून तक पीआरटीसी कर्मचारी हड़ताल पर रहेंगे। कर्मचारियों ने सरकार को चेतावनी दी कि जल्द से जल्द कर्मचारियों की मांगों को हल किया जाए, क्योंकि सत्ता में आने से पहले आप की ओर से दावा किया गया था कि कर्मचारियों को पक्का किया जाएगा और सभी मांगों को पूरा किया जाएगा। लेकिन अब सरकार अपने वादों से पीछे हट रही है।